Azamgarh Lok Sabha Seat: आजमगढ़ को भेद पाना 'निरहुआ' के लिए नहीं है आसान, SP ने धर्मेंद्र यादव को उतारा

अनन्या मिश्रा     May 24, 2024
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Azamgarh Lok Sabha Seat: आजमगढ़ को भेद पाना निरहुआ के लिए नहीं है आसान, SP ने धर्मेंद्र यादव को उतारा

समाजवादियों का गढ़ कहे जाने वाले आजमगढ़ लोकसभा क्षेत्र से बीजेपी के दिनेश लाल निरहुआ सांसद हैं। इस नाते यहां पर भाजपा के लिए जीत हासिल करना बीजेपी और सपा दोनों के लिए ही नाक का सवाल है।

उत्तर प्रदेश की आजमगढ़ लोकसभा सीट काफी अहम सीट है। जब पूर्वांचल में बीजेपी का विजयरथ सोनभद्र की पहाड़ियों, काशी, बागी बलिया आदि को जीतते हुए आजमगढ़ पहुंचकर कमजोर पड़ जाता है। समाजवादियों का गढ़ कहे जाने वाले आजमगढ़ लोकसभा क्षेत्र से बीजेपी के दिनेश लाल निरहुआ सांसद हैं। इस नाते यहां पर भाजपा के लिए जीत हासिल करना बीजेपी और सपा दोनों के लिए ही नाक का सवाल है। वहीं यहां पर चार बार जीत हासिल कर चुकी बसपा को भी यह साबित करना होगा कि हाथी का दम अभी भी दमदार है।


साल 2019 के लोकसभा चुनाव और 2022 के विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी ने यहां पर अपनी स्थिति काफी मजबूत कर ली है। सपा ने इस सीट से धर्मेंद यादव को उतारा है, तो वहीं बीजेपी ने एक बार फिर दिनेश लाल निरहुआ पर भरोसा जताया है। वहीं बसपा ने इस सीट से मुस्लिम प्रत्याशी मशहूद अहमद को चुनावी मैदान में उतारा है। इस सीट पर 25 मई को मतदान होना है। इस क्षेत्र के एक-एक वोट के लिए जबरदस्त लड़ाई देखने के मिल रही है। बता दें कि इस सीट पर साइकिल और कमल में सीधी तनी हुई है।


बीजेपी प्रत्याशी दिनेश लाल निरहुआ

भाजपा पार्टी ने 'निरहुआ'के नाम से फेमस आजमगढ़ के निवर्तमान सांसद दिनेश लाल को एक बार फिर इसी लोकसभा सीट से टिकट दिया है। साल 2019 में बीजेपी ने निरहुआ को आजमगढ़ से उम्मीदवार घोषित किया था। लेकिन तब उनको सपा सुप्रीमो अखिलेश यादव के सामने हार का सामना करना पड़ा था। वहीं साल 2022 के उपचुनाव में दिनेश लाल यादव उर्फ निरहुआ अखिलेश यादव के चचेरे भाई धर्मेंद्र यादव को हराकर संसद पहुंचे। इस बार भी भोजपुरी सिनेमा के सुपरस्टार निरहुआ के सामने इस सीट को बचाए रखना चुनौती है।


सपा प्रत्याशी धर्मेंद्र यादव

सपा प्रत्याशी ध्रमेंद्र यादव ने साल 2009 के लोकसभा चुनाव में उत्तर प्रदेश की बदायूं सीट से जीत हासिल की थी। वहीं साल 2014 के चुनाव में भाजपा लहर के बाद भी वह अपनी सीट बचाने में कामयाब रहे थे। लेकिन साल 2019 के लोकसभा चुनाव में धर्मेंद्र यादव को निरहुआ के सामने इस सीट से हार का सामना करना पड़ा था। साल 2022 के उपचुनाव में धर्मेंद्र यादव ने आजमगढ़ से चुनाव लड़ा, लेकिन वह हार गए। ऐसे में एक बार फिर 2024 के लोकसभा चुनाव में धर्मेंद्र यादव का मुकाबला भोजपुरी गायक-अभिनेता निरहुआ से है।


बसपा प्रत्याशी मशहूद अहमद

बहुजन समाज पार्टी ने आजमगढ़ लोकसभा सीट को प्रयोगशाला बना दिया है। यही वजह है कि लगातार अब तक तीन बार पार्टी ने इस सीट से प्रत्याशी बदला है। पार्टी ने इस सीट से मशहूद अहमद को चुनावी मैदान में उतारा है। मशहूद समाजसेवा के साथ वह ब्राइट एजुकेशनल एंड सोशल आर्गेनाइजेशन का संचालन करते हैं।