होम
न्यूज़
चुनाव कार्यक्रम
पार्टी को जानें
जनता की राय
राज्य
चुनावी हलचल
CLOSE

Arunachal Pradesh News: PM मोदी के अरुणाचल प्रदेश के दौरे पर बौखलाई चीनी सेना, भारत को दी गीदड़भभकी

By LSChunav | Mar 16, 2024

चीन ने अरुणाचल प्रदेश को भारत का नहीं बल्कि अपना हिस्सा बताया है। साथ ही अरुणाचल प्रदेश का नाम 'जंगनान' बताया है। बता दें कि चीन के रक्षा मंत्रालय के प्रवक्ता झांग जियाओगांग ने एक बयान जारी करते हुए कहा कि जंगनान एक चीनी क्षेत्र है। चीनी सरकार ने कभी भी तथाकथित 'अरुणाचल प्रदेश' को न तो कभी मान्यता दी है और न ही आगे देंगे। वहीं भारत के अवैध रूप से स्थापित अरुणाचल प्रदेश का भी चीनी सरकार कड़ा विरोध करती है। जियाओगांग ने कहा कि चीनी सरकार भारत से विवादों का शांतिपूर्वक हल चाहता है। 

ऐसे में भारत सीमा मुद्दों को जटिल बनाने वाली कार्रवाई को बंद करने के साथ ही सीमावर्ती क्षेत्रों में प्रभावी ढंग से शांति और स्थिरता बनाए रखना चाहिए। आपको बता दें कि हाल ही में पीएम मोदी ने अरुणाचल प्रदेश और असम का दौरा किया था। इस बीच पीएम ने सेला सुरंग का उद्घाटन किया था। सशस्त्र बलों की तैयारियों में यह सुरंग मददगार होगी। जिसके बाद से चीन भारत पर भड़का हुआ है। वहीं बीजिंग का कहना है कि भारत-चीन सीमा का प्रश्न अभी तक हल नहीं हुआ है। ऐसे में भारत देश को इस तरह की चीजों से बचना चाहिए। 

पीएम मोदी के अरुणाचल प्रदेश के दौरे के बाद चीन और भारत की तरफ से कई बयान जारी किए जा चुके हैं। चीन द्वारा अरुणाचल प्रदेश पर किए गए सभी दावों को भारत ने सिरे से खारिज कर दिया। भारतीय विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जयसवाल ने कहा कि अरुणाचल प्रदेश भारत का एक अभिन्न हिस्सा है और हमेशा रहेगा।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अरुणाचल प्रदेश के दौरे के बाद चीन ने कहा कि उसने कभी अरुणाचल प्रदेश को मान्यता नहीं दी है। ऐसे में इस क्षेत्र को मनमाने ढंग से विकसित करने का भारत को कोई अधिकार नहीं है। हांलाकि यह पहली बार नहीं है, जब अरुणाचल प्रदेश को लेकर चीन की इस तरह की प्रतिक्रिया सामने आई है। लंबे समय से अरुणाचल प्रदेश पर चीन अपना अधिकार जताता आ रहा है। साथ ही भारत के राष्ट्रीय नेताओं के अरुणाचल प्रदेश जाने पर भी चीन ऐतराज जताता रहा है।

दरअसल, चीन अरुणाचल प्रदेश को दक्षिणी तिब्बत बताता रहा है। चीन तिब्बत के अलावा अरुणाचल प्रदेश पर भी अपना दावा करता है। बता दें कि चीन और भारत के बीच मैकमोहन रेखा को ही अंतरराष्ट्रीय सीमा रेखा माना गया है। लेकिन चीन इसको पूरी तरह से खारिज करता है। चीन का कहना है कि भारत के पास तिब्बत का बड़ा हिस्सा है, जो भारत को उसे वापस कर देना चाहिए।
Copyright ©
Dwarikesh Informatics Limited. All Rights Reserved.